देश के वीर जवानों ने जिस अंदाज में ऑपरेशन सिंदूर से पड़ोसी मुल्क में पनाह लिए आतंकवादियों के छक्के छुड़ा दिए, उसी अंदाज में उत्तराखंड पुलिस ने साइबर अपराधियों पर ऑपरेशन प्रहार के माध्यम से उनके हौसले पस्त करने का काम किया है। देश में ऐसा पहली बार हुआ है जब किसी राज्य की पुलिस ने एक साथ कई जगहों पर छापेमारी कर साइबर ठगों पर धावा बोला है।
पुलिस महानिदेशक दीपम सेठ के निर्देश पर एसएसपी एसटीएफ नवनीत भुल्लर ने साइबर क्राइम पुलिस स्टेशन गढ़वाल व कुमाऊं की की टीमों को निर्देशित किया। सीओ साइबर (STF) अंकुश मिश्रा ने रणनीति बनाई। इसके बाद प्रभारी निरीक्षक साइबर थाना गढ़वाल त्रिभुवन रौतेला व प्रभारी निरीक्षक साइबर थाना कुमाऊं अरुण कुमार के नेतृत्व में उत्तराखंड एसटीएफ (Cyber Crime police station) ने साइबर अपराधियों की पहचान के लिए देशव्यापी स्तर पर ‘ऑपरेशन प्रहार’ लॉन्च किया। इसके तहत दिल्ली-एनसीआर सहित 17 राज्यों जिसमे (हिमाचल, पंजाब, हरियाणा, दिल्ली एनसीआर, उत्तर प्रदेश, दिल्ली, मध्य प्रदेश, राजस्थान, गुजरात, आंध्रप्रदेश, तेलंगाना, केरल, तमिलनाडु, पश्चिम बंगाल, कर्नाटक, गोवा) में 23 विशेष टीमों ने धावा बोल दिया। टीम में तकनीकी रूप से दक्ष व I4C से प्रशिक्षण प्राप्त साइबर कमांडों भी शामिल थे।
लगभग 42 दिन चले इस अभियान में साइबर क्राइम पुलिस स्टेशन देहरादून व रुद्रपुर की टीमों ने स्थानीय पुलिस, साइबर क्राइम थानों और तकनीकी एजेंसियों के साथ समन्वय बनाते हुए अपराधियों के पते, मोबाइल नंबर, बैंक खाते, सोशल मीडिया प्रोफाइल और अन्य डिजिटल साक्ष्यों को एकत्र किया। अभियान के दौरान टीमों ने 52 अभियुक्त जो साइबर अपराध में लिप्त थे काफी समय से फरार चल रहे थे, जिनके नाम पते सफलतापूर्वक तस्दीक करते हुए नियमानुसार नोटिस थमााया। अन्य राज्यों की पुलिस द्वारा गिरफ्तार सात साइबर अपराधी जो विभिन्न जेलों में बंद हैं उनका बी-वारंट प्राप्त किया। अभियान के दौरान 225 ऐसे अपराधी पाए गए जो गलत नाम-पता, दस्तावेजों का इस्तेमाल करके बैंक खाते खोले थे। एक अभियुक्त की मृत्यु हो चुकी है। 30 अभियुक्तो के घरों पर नोटिस चस्पा करते हुए परिजनों को भी सूचित किया गया। इस प्रकार अभियान के तहत कुल मिलाकर 290 से अधिक अभियुक्तों के विरुद्ध पूरे देश में एक साथ कार्रवाई की गई।
ऑपरेशन की सफलता पर एसएसपी एसटीएफ नवनीत सिंह ने टीम के सभी सदस्यों को बधाई दी जिन्होंने दूरदराज के राज्यों में जाकर चुनौतियों के बावजूद सफलतापूर्वक कानूनी कार्रवाई की। उन्होंने बताया कि ऑपरेशन प्रहार अभी भी जारी है। टीमें अलग-अलग राज्यों में मौजूद हैं और यह साइबर अपराध के खिलाफ एक सतत लड़ाई है जारी रहेगी।
टीमों के द्वारा विभिन्न राज्यों में की गई कार्रवाई का विवरण
1. तेलंगाना
टीम: Addl SI Gopal / Cons Prakash
प्रमुख साइबर अपराध: OTP फ्रॉड, फर्जी कॉल सेंटर, लोन ऐप धोखाधड़ी
कार्रवाई:- कुल 06 अभियुक्तों के विरुद्ध कार्रवाई की गई
2. दिल्ली NCR (संयुक्त)
टीम: Addl SI Manoj / Addl SI Sunil Bhatt /Cons Mukesh
प्रमुख साइबर अपराध: OTP धोखाधड़ी, तेजी से बढ़ते ऑनलाइन फ्रॉड
कार्रवाई:- कुल 44 अभियुक्तों के विरुद्ध कार्रवाई की गई
3. कर्नाटक
टीम: Addl SI Mukesh / Cons Sadab
प्रमुख साइबर अपराध: बिटकॉइन स्कैम, टेक-सपोर्ट फ्रॉड
कार्रवाई:- कुल 15 अभियुक्तों के विरुद्ध कार्रवाई की गई
4. उत्तर प्रदेश
टीम: SI Kuldeep Tamta/ Addl SI Sumer/Cons Sudhesh/Cons Vikash
प्रमुख साइबर अपराध: QR कोड स्कैम, डिजिटल लोन धोखाधड़ी
कार्रवाई:- कुल 33 अभियुक्तों के विरुद्ध कार्रवाई की गई
5. तमिलनाडु व केरल
टीम: Addl SI Suresh / HC Sarvan
प्रमुख साइबर अपराध: डिजिटल पेमेंट फ्रॉड
कार्रवाई:- कुल 34 अभियुक्तों के विरुद्ध कार्रवाई की गई
6. पश्चिम बंगाल
टीम: Addl SI Vinod Bisht / Cons Praveen
प्रमुख साइबर अपराध: कॉल सेंटर स्कैम, बैंक फ्रॉड
कार्रवाई:- कुल 33 अभियुक्तों के विरुद्ध कार्रवाई की गई
7. राजस्थान
टीम: Cons Nitin / Cons Gaurav
प्रमुख साइबर अपराध: नकली वेबसाइट, QR स्कैन धोखाधड़ी
कार्रवाई:- कुल 31 अभियुक्तों के विरुद्ध कार्रवाई की गई
8. महाराष्ट्र, गोवा
टीम: Cons Sohan/Cons Mahesh
प्रमुख साइबर अपराध: डेटिंग ऐप फ्रॉड, वित्तीय धोखाधड़ी
कार्रवाई:- कुल 25 अभियुक्तों के विरुद्ध कार्रवाई की गई
9. गुजरात
टीम: HC Deepka / Cons Jitendar
प्रमुख साइबर अपराध: नकली ई-कॉमर्स वेबसाइट, डिजिटल पेमेंट धोखाधड़ी
कार्रवाई:- कुल 22 अभियुक्तों के विरुद्ध कार्रवाई की गई
10. हिमाचल प्रदेश, पंजाब, हरियाणा
टीम: HC Pawan
प्रमुख साइबर अपराध: नकली कॉल सेंटर, OTP धोखाधड़ी
कार्रवाई:- कुल 23 अभियुक्तों के विरुद्ध कार्रवाई की गई
11. मध्य प्रदेश
टीम: SI Raman Bisht / Cons Neeraj
प्रमुख साइबर अपराध: फर्जी कस्टमर केयर स्कैम
कार्रवाई:- कुल 13 अभियुक्तों के विरुद्ध कार्रवाई की गई
12. आंध्र प्रदेश
टीम: SI Himmat / Cons Yogeshwar
प्रमुख साइबर अपराध: सोशल मीडिया फ्रॉड, फर्जी कॉल सेंटर
कार्रवाई:- कुल 12 अभियुक्तों के विरुद्ध कार्रवाई की गई
टीम के सामने आईं प्रमुख चुनौतियां
भाषाई बाधाएं – तमिल, कन्नड़, तेलुगु, बंगाली, मराठी, गुरमुखी आदि भाषाओं ने संवाद को कठिन बनाया।
भौगोलिक कठिनाई – दुर्गम व भीड़-भाड़ वाले क्षेत्रों में पहुँचने में समस्या हुई।
संस्कृति व खानपान का अंतर – क्षेत्रीय विविधताओं के चलते प्रारंभिक समन्वय में विलंब हुआ।
फर्जी दस्तावेजों का उपयोग – अभियुक्तों द्वारा फर्जी पहचान का इस्तेमाल करने से पहचान में कठिनाई हुई।
अपराधियों का संगठित रूप से काम करना – कुछ जगहों पर अभियुक्तों को स्थानीय समर्थन मिला, जिससे प्रत्यक्ष विरोध का सामना करना पड़ा।
साइबर अपराधियों को दिया सख्त संदेश
इस ऑपरेशन के माध्यम से देशभर के साइबर अपराधियों को एक सख्त सन्देश गया है कि वे अब कानून की पकड़ से दूर नहीं हैं। उत्तराखंड पुलिस द्वारा चलाया जा रहा यह राष्ट्रव्यापी अभियान साइबर अपराध के विरुद्ध एक निर्णायक कदम है। इस पहल से न केवल अभियुक्तों की पहचान एवं गिरफ्तारी सुनिश्चित हो रही है, बल्कि अन्य राज्यों की पुलिस एजेंसियों के साथ समन्वय भी सुदृढ़ हो रहा है। आगामी समय में साइबर अपराधों पर पूर्ण अंकुश लगाने के लिए इस तरह के संयुक्त प्रयासों को और अधिक गति दी जाएगी।
जनता से अपील:- साइबर अपराध से बचाव के लिए जागरूकता ही एक हथियार है, कृपया सचेत रहे और जागरूक बने, साइबर अपराध की सूचना तत्काल 1930 व www.cybercrime.gov.in पर दर्ज करें।